देश में डेल्टा प्लस के मामले बढ़कर हुए 48
नई दिल्ली, । देश में कोरोना का डेल्टा वेरियंट अब चिंता का विषय बना हुआ है। कोरोना की तीसरी लहर की आशंकाओं के बीच भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के महानिदेशक डॉ. बलराम भार्गव ने बताया कि कोरोना वेरियंट डेल्टा पर भी कोविशील्ड और कोवैक्सीन प्रभावी है। दोनों वैक्सीन वेरियंट आफ कंसर्न यानि चिंता का विषय माने जाने वाले सभी अल्फा, बीटा, गामा और डेल्टा पर असरदार है। डेल्टा प्लस वेरियंट अभी 12 देशों में पाया गया है। देश में अबतक इस प्रकार के 48 मामले सामने आ चुके हैं। देश में यह सारे मामले 10 राज्यों से आते हैं।
मंगलवार को आयोजित प्रेस वार्ता में डॉ. बलराम भार्गव ने बताया कि कोरोना के अल्फा, बीटा, गामा और डेल्टा वेरियंट की तरह डेल्टा प्लस के सैंपल पर वैक्सीन के असर की जांच की जा रही है। नतीजे 7-10 दिन में सामने आएंगे। उन्होंने बताया कि 2-18 साल के बच्चों में भी वैक्सीन का परीक्षण किया जा रहा है। इसके नतीजे सितंबर के महीने तक आएंगे। हालांकि बच्चों को वैक्सीन देने पर दुनिया में चर्चाएं चल रही हैं, चूंकि अमेरिका में बच्चों पर किए गए परीक्षण में कुछ जटिलताएं देखी गई हैं।
गर्भवती महिलाओं को भी दी जा सकती है वैक्सीन
डॉ. बलराम भार्गव ने बताया कि गर्भवती महिलाओं को वैक्सीन दी जा सकती है। इस संबंध में केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने दिशा-निर्देश जारी किए हैं। कोरोना से बचाव के लिए वैक्सीन जरूरी है और यह दिया जाना चाहिए।
हिन्दुस्थान समाचार