लखनऊ (DVNA)। प्रदेश सरकार ने वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए बुधवार को विधानसभा में 7301.52 करोड़ रुपए का अनुपूरक बजट पेश किया। वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने अनुपूरक बजट प्रस्तुत करते हुए कहा कि यह 7301.52 करोड़ रुपए का बजट है, जो मौजूदा वित्तीय वर्ष के लिए निर्धारित पांच लाख 50 हजार करोड़ रुपए के वार्षिक बजट का 1.33 फीसद है। उन्होंने कहा कि यह बहुत छोटा अनुपूरक बजट है और इसमें खासतौर पर उन बातों पर ध्यान दिया गया है, जो अत्यंत जन कल्याणकारी हैं या किसी-किसी योजना को पूरा करने के लिए हैं। वित्त मंत्री ने कहा कि इसमें कुछ नई मांगे भी हैं। खासतौर से युवाओं के लिए रोजगार के अवसर सृजन करने के लिए तीन हजार करोड़ रुपए की व्यवस्था की गई है। गन्ना मूल्य का भुगतान, अधिवक्ताओं के लिए सामाजिक सुरक्षा निधि, आंबेडकर स्मारक के निर्माण तथा सांस्कृतिक केंद्र का निर्माण, आंगनबाड़ी, आशा कार्यकर्ताओं तथा चौकीदारों के लिए मानदेय में वृद्धि, विद्युत व्यवस्था में सुधार, गोवंशीय पशुओं का रखरखाव और अयोध्या में सुविधाओं और पार्किंग की व्यवस्था और साथ ही साथ मूलभूत ढांचा में वृद्धि, बुन्देलखंड एक्सप्रेस वे जैसी मुख्य योजनाओं के लिए अनुपूरक बजट में प्रविधान किया गया है।
खन्ना ने कहा कि इस पर विस्तृत चर्चा तो गुरुवार को होगी लेकिन हम विशेष रूप से कहना चाहते हैं कि कि इस साढ़े चार साल की सरकार में जनता का नजरिया बदला है। लोक दृष्टि सबसे बड़ा मानदंड होता है किसी भी सरकार के मूल्यांकन का और आज जनता की आवाज की उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने नए रिकॉर्ड बनाए हैं और पुराने कई रिकॉर्ड को तोड़ा भी है। उन्होंने कहा ैइसलिए मैं पूरे सदन से अनुरोध करना चाहता हूं कि यह मात्र 1.33 प्रतिशत का अनुपूरक बजट है। अगर बिना चर्चा के ही सभी इसे पारित कर दें तो बहुत अच्छा रहेगा। नेता विरोधी दल के कहा कि प्रदेश सरकार ने महंगाई चरम पर पहुंंचाकर रिकार्ड बनाया है। इसी तरह से बेरोजगारी पिछले 41 साल का रिकार्ड तोड़ रही है। भ्रष्टïाचार बहुत बढ़ गया है। सरकार ने अपराध बढ़ाने और लोगों को अपमानित करने का रिकार्ड कायम किया है।
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