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पर्ल्स व सहारा कंपनी में फंसा गरीबों का पैसा वापस दिलाने की मांग

आगरा- पल्स कंपनी के एजेंट/निवेशक याकूब शेख ने अपने बयान में कहा है कि पर्ल्स कंपनी पिछले 31 वर्षों से निरंतर सफलतापूर्वक चल रही थी परंतु मोदी सरकार के आने पर 22 अगस्त 2014 को सेबी द्वारा कंपनी को बंद कर दिया गया और कंपनी का पैसा व जमीने सेबी द्वारा जब्त कर ली गईं वर्ष 2016 में सुप्रीम कोर्ट ने रिटायर्ड जज आर.एन रोड़ा के नेतृत्व में बनाई गई कमेटी को सेबी के अधीन रहकर निवेशकों का पैसा वापस करने का आदेश दिया था। लेकिन निवेशकों को उनका पैसा आज तक नहीं मिला है। पर्ल्स कंपनी के एजेंट याकूब शेख का कहना है पल्स और सहारा आदि कंपनियां चोर नहीं है। चोर तो सेबी है जिसने पर्ल्स व सहारा कम्पनी के निवेशकों का लाखों करोड़ रुपया जब्त कर लिया है। पिछले 7 वर्षों से निवेशक परेशान है। किसी की बेटी की शादी रुकी हुई है तो किसी का मकान टूटा पड़ा है। निवेशकों और एजेंटों के बीच आए दिन झगड़े होते है। कंपनियों का पैसा व जमीन सेबी दवाएं बैठी है। और एजेंट व निवेशक परेशान हो रहे हैं। सेबी ने 2016 से आज तक निवेशक से पैसा वापसी के लिए ऑनलाइन मांगे गए आवेदनों में से 2% लोंगो को जिनका 2500 से लेकर 10000 तक जमा है उनका ही पैसा वापस किया है। इस चींटी जैसे धीमी चाल से लाखों करोड़ रुपया निवेशकों को वापस करना सेबी के बस की बात नहीं है। सेबी को चाहिए कि वह कंपनी के ऑफिस खोलने का आदेश करें। ताकि कंपनियों द्वारा निवेशकों का पैसा लौटाया जा सके। पर्ल्स एजेंट याकूब शेख ने कांग्रेस द्वारा पर्ल्स और सहारा का मुद्दा उठाए जाने पर सराहनीय कदम बताया और कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी से इस मुद्दे को कांग्रेस के उत्तर प्रदेश 2022 के चुनावी घोषणा पत्र में शामिल करने की मांग की है.