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के.यू.चि.अ.प. ने सीएचओ के लिए दो-दिवसीय प्रशिक्षण का आयोजन किया

 

नई दिल्ली, : केंद्रीय यूनानी चिकित्सा अनुसंधान परिषद (के.यू.चि.अ.प.), आयुष मंत्रालय, भारत सरकार ने आयुष स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों के तहत सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों (सीएचओ) (युनानी चिकित्सा) के लिए जून 7-8, 2022 को दो- दिवसीय पुनश्चर्या प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया।

ऑनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्घाटन करते हुए श्री डी. सेंथिल पांडियन, संयुक्त सचिव, आयुष मंत्रालय, भारत सरकार ने कहा कि आयुष प्रणाली गैर-संचारी रोगों (एनसीडी) के बढ़ते बोझ को दूर करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। उन्होंने आगे कहा कि भारत सरकार की एक प्रमुख योजना आयुष्मान भारत के तहत आयुष स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों के माध्यम से यूनिवर्सल हेल्थ कवरेज प्राप्त करने का लक्ष्य है। उन्होंने यह भी कहा कि आयुष स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों से मुख्य रूप से निवारक और प्रोत्साहक हस्तक्षेपों पर आधारित व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल के सुदृढ़ीकरण में आयुष आधारित वेलनेस मॉडल की प्रभावशीलता का पता लगेगा और जनता को शिक्षित करने और सूचित विकल्प प्रदान करने के माध्यम से बीमारी के बोझ को कम करने और जेब खर्च को कम करने में मदद मिलेगी।

इससे पहले अपनी परिचयात्मक टिप्पणी में के.यू.चि.अ.प. के महानिदेशक प्रो. आसिम अली ख़ान ने कहा कि प्रशिक्षण कार्यक्रम सीएचओ के कौशल को ताज़ा करने और उन्हें समुदाय को व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल सेवाएं प्रदान करने में सक्षम बनाने के लिए आयोजित किया गया है। उन्होंने आगे कहा कि के.यू.चि.अ.प ने पहले ही ‘सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों (यूनानी चिकित्सा) के लिए अभिविन्यास दिशानिर्देश’ विकसित किया है जो सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों और उनकी टीम के क्षमता निर्माण के लिए प्रारंभिक संरचना और आयुष स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों में की जाने वाली विभिन्न गतिविधियों पर व्यापक जानकारी और यूनानी उपायों एवं हस्तक्षेपों के माध्यम से स्वास्थ्य को बढ़ावा देने तथा रोगों की रोकथाम और नियंत्रण की प्रथाओं का विवरण प्रदान करता है।

उद्घाटन कार्यक्रम का समापन आयुष मंत्रालय, भारत सरकार के सलाहकार (यूनानी) डॉ. एम. ए. कासमी द्वारा प्रस्तावित धन्यवाद प्रस्ताव के साथ हुआ।

प्रशिक्षण कार्यक्रम में आयुष मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा संचालित किए जा रहे आयुष स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों के लिए डिजाइन किए गए बारह सेवा वितरण क्षेत्रों पर प्रस्तुतियां थीं। प्रशिक्षुओं को सेवा वितरण ढांचे, स्वास्थ्य के संरक्षण के लिए दैनिक आधार पर अपनाई जाने वाली स्वस्थ प्रथाओं और बीमारी की रोकथाम और नियंत्रण के बारे में व्यावहारिक जानकारी प्रदान की गई।

डॉ. गज़ाला जावेद, अनुसंधान अधिकारी (यूनानी) वैज्ञानिक- IV, के.यू.चि.अ.प ने कार्यक्रम की कार्यवाही का संचालन और समन्वय किया।