संवाद/ दानिश उमरी
आगरा। संविधान निर्माता भारत रत्न डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के जन्मोत्सव पर उत्तर भारत में ऐतिहासिक भीम नगरी महोत्सव को आगरा में धूमधाम से मनाया जाता है। तीन दिन चलने वाले इस आयोजन में हर दिन अलग कार्यक्रम होते हैं। जिसमें पहले दिन शोभायात्रा और दूसरे दिन सामूहिक विवाह सम्मेलन अंतिम दिन सम्मान समारोह के साथ कार्यक्रम का समापन किया जाता है।
1996 में पहली बार सजी थी आगरा में भीम नगरी
भीम नगरी केंद्रीय कमेटी के संरक्षक करतार सिंह भारती एडवोकेट ने इस बारे में और जानकारी देते हुए बताया कि आगरा दलितों को राजधानी है यहां बड़ी संख्या में अंबेडकर अनुयायी रहते हैं। भीम नगरी महोत्सव को शुरुआत 1996 में की थी।
पहले बार ईदगाह मैदान में भीम नगरी सजाई गई थी। जिसका शुभारंभ बाबा साहब की धर्मपत्नी सविता अंबेडकर ने किया था। उस समय यह एक दिवसीय आयोजन हुआ था। उसके बाद शहर के अलग अलग हिस्सों में भीम नगरी को सजाया गया।
इन स्थानों पर सज चुकी है भीम नगरी
भीम नगरी 1996 में ईदगाह मैदान उसके बाद, गोपालपुरा, आनंदनगर चक्की पाठ, टेढ़ी बगिया, नारायच, देवरी रोड रामनगर की पुलिया, राजनगर, धनौली, दोरेठा, टेढ़ी बगिया, चक्की पाठ, रामलीला मैदान और अब नगला पदमा , जगदीशपुरा, राजराई, सेवला में भीमनगरी सज चुकी है।
ये हस्तियां कर चुकी हैं भीम नगरी में शिरकत
भीम नगरी महोत्सव में बाबा साहब की पत्नी सविता अंबेडकर और बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष व उत्तर प्रदेश की चार बार मुख्यमंत्री रहीं बहन कुमारी मायावती भी शिरकत कर चुकी हैं।
कब हुई अंबेडकर शोभायात्रा की शुरुआत
डॉक्टर भीमराव अंबेडकर शोभायात्रा की जानकारी देते हुए भीम नगरी केंद्रीय समिति के संरक्षण करतार सिंह भारती ने बताया की सन 1957 में शोभा यात्रा आगरा से शुरू हो गई थी। जिससे उसके बाद इसका विस्तार 1964-65 में और हुआ। झाकियों की। संख्या में भी इज़ाफ़ा हुआ। सन 1978 के आस पास झाकियों की संख्या 80 के करीब हो गईं। लगातार शोभायात्रा में झाकियां बड़ी ही हैं।
ये होते हैं कार्यक्रम
भीम नगरी महोत्सव तीन दिवसीय होता है। जिसमें पहले दिन 14।अप्रैल शोभायात्रा निकाली जाती है। दूसरे दिन 15 अप्रैल भीम नगरी मंच का उद्घाटन तीसरे दिन दहेज रहित सामूहिक विवाह चौथे दिन मेधावी सम्मान समारोह व सभी सहयोगियों के सम्मान के साथ कार्यक्रम का समापन होता है।
इस बारे में और जानकारी देते हुए भीम नगरी आयोजन केंद्रीय समिति के मीडिया प्रभारी आशीष कुमार प्रिंस ने बताया कि बाबा साहब का जन्मोत्सव भव्य रूप से मनाया जाता है।
तीनों दिन अगर अलग कार्यक्रम किए जाते हैं। पहले दिन उद्घाटन दूसरे दिन सामूहिक विवाह तीसरे दिन सम्मान समारोह के साथ कार्यक्रम का समापन किया जाता है।
इस बार भीम नगरी के मंच पर दिखेगा सांची का स्तूप का स्वरूप
केंद्रीय भीम नगरी आयोजन समिति के मीडिया प्रभारी आशीष कुमार प्रिंस ने मंच के बारे में जानकारी देते हुए इस भीम नगरी का आयोजन पंचशील कॉलोनी दौरेठा में किया जा रहा है। हर साल कमेटी मंच को एक अलग स्वरूप देने का कार्य करती है। इस बार मंच का स्वरूप सांची का स्तूप के जैसा बनाया जा रहा है।
कलकत्ता और बिहार के कारीगर बना रहे हैं मंच
भीम नगरी का भव्य मंच कलकत्ता और बिहार से आए कारीगर तैयार कर रहे हैं। करीब 30 कारीगरो की पूरी मेहनत से भीम नगरी का मंच जल्दी ही तैयार होने जा रहा है। दिन रात मेहनत कर कारीगर समय से पूर्व मंच को तैयार करने में जुटे हैं।