बरेली। भारत पहली बार जी-20 समिट की मेजबानी कर रहा है. 9-10 सितंबर को देश की राजधानी दिल्ली में दुनिया के 20 ताकतबर देशों से शक्तिशाली नेता इकट्ठा हुए जो अर्थव्यव्स्था समेत अन्य मुद्दों पर चर्चा हुई l इन देशों की ग्लोबल इकोनॉमी में 80 फीसदी से ज्यादा की हिस्सेदारी है. इसके अलावा G-20 देशों में दुनिया का कुल 85 प्रतिशत प्रोडक्शन और अंतरराष्ट्रीय व्यापार में समूह देशों की हिस्सेदारी 75 फीसदी है l
सलमान मिया ने बताया कि भारत के लिए ये जी-20 शिखर सम्मेलन कई मायनों में अहम है. पहला तो ये कि पहली बार दुनिया मेजबान भारत की संस्कृति से और भी ज्यादा रूबरू हो रही है. वहीं पीएम मोदी जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान कह चुके हैं. कि भारत जल्द दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगा और 2047 तक भारत विकसित राष्ट्र होगा.
जी-20 शिखर सम्मेलन के जरिए भारत दुनिया के सामने उसी रूप को दिखाना चाहता है. जिसमें वो लगातार विकास करते हुए विकसित राष्ट्र बनने का सपना देख रहा है l जिससे भारत को इसे सदस्य देशों के साथ व्यापारिक संबंध और मजबूत करने का मौका मिलेगा. एक्सपर्ट के मुताबिक जी-20 देखों से भारत के इंफ्रास्ट्रचर सेक्टर में अच्छा खास इन्वेस्टमेंट आ रहा है l जिसके और भी बढ़ने की उम्मीद है l तुर्की यूरोप अमेरिका कनाडा जैसे देशों का वीजा लगने में भारतीयों के लिए आसानी पैदा करेगा और व्यापार को बढ़ाएगा जिससे हमारे देश तरक्की करेगा l चाहे मंगलयान हो या कोविड जैसी महामारी में 140 करोड़ देशवासियों की रक्षा करना या फिर चंद्रयान-3 हर मामले में भारत औरों से बेहतर है. दुनिया के बाकी देश भी अगर भारत के साथ मिलकर काम करेंगे