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श्री वरद वल्लभा महागणपति मंदिर में फूल बंगला के साथ गणेश जी का हुआ स्वर्ण श्रृंगार


आगरा। श्री वरद वल्लभा महागणपति मंदिर परिसर छलेसर में आज भव्य फूल बंगला सजाया गया तथा गणेश जी का स्वर्ण श्रृंगार किया गया। महंत लखन दिक्षित लखन दीक्षित जी ने बताया के मंदिर में पूजा दक्षिण भारत की पद्धति के हिसाब से होती है, जिसमें के फूल माला से लेकर पोशाक और दैनिक पूजा भी अपने दक्षिण भारत के अनुसार कराई जाती है।


गणेश चतुर्थी के बारे में प्रकाश डालते हुए महंत ने बताया कि गणेश जी महाराज का जन्म उत्सव भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष चतुर्थी से लेकर अनंत चतुर्दशी तक मनाया जाता है। आदि अनादि काल से हमारे सनातन धर्म में कोई भी शुभ कार्य होता है, तो गणेश जी महाराज से सभी विघ्नों को दूर करने के लिए प्रार्थना की जाती है तथा रिद्धि सिद्धि को प्रदान करने के लिए खुश किया जाता है। श्री गणेश जी बुद्धि व सद्बुद्धि विद्या धन देने वाले भगवान हैं।
शास्त्रों के अनुसार यह बताया जाता है कि भाद्रपद मांस बहुत श्रेष्ठ है जो कि भगवान कृष्ण का प्राकट्य महीना है बृजेश्वरी श्री राधा रानी का प्राकट्य मास है तथा भगवान वामन जी का भी प्राकट्य मास है इसी महीने में बलराम जी का भी जन्म पड़ता है और इसीलिए भादों महीने को श्रेष्ठ महीना कहा जाता है।

श्री गणेश जी को प्रसन्न करने के लिए हम सभी सनातनी उनकी पूजा करते हैं और पंडाल में गणेश जी का स्वरूप भी विराजमान करते हैं तथा आरती पूजन भी बड़े उल्लास के साथ करते हैं।

गणेश चतुर्थी के पावन अवसर पर अगर भक्त बृहस्पतिवार को पीले मोदक का भोग लगाकर भक्त: ओम गं गणपतए नमः मंत्र बोलकर पूजन करें तो ऐसा करने से सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। एनआरएल महिंद्रा के डायरेक्टर दीपक गर्ग जी ने बताया कि आज के फूल बंगले का व पोशाक शिव गुप्ता जी ने अपने परिवार के साथ गणपति जी का निश्चित पोशाक श्रृंगार सेवा की जयदीप कपूर जी की तरफ से फल सेवा व हवन सामग्री की सेवा की वह दीपक गार्गी ने अपने परिवार के साथ हवन कर कर गणपति महाराज का शुभ समृद्धि का आशीर्वाद लिया एवं सुशील यादव जी ने अपने परिवार के साथ पूर्व दिवस भोग लगाकर सेवा की