संवाद/ विनोद मिश्रा
कानपुर। जिले में बिजली विभाग नें अंधेर गर्दी कर रखी है। बिजली का “कनेक्शन बिना सुविधा शुल्क के देना वह अपना अपमान” सा समझता है। इसी प्रताड़ना का शिकार जिले के ग्राम सिंहपुर कछार निवासी एवं “सीएम योगी की कार्यप्रणाली के अनन्य भक्त श्रीश दिवेदी”हैं। उन्होंने अपने मकान में विजली संयोजन के लिये झटपट योजना के तहत 9 अप्रैल 24 को आनलाईन आवेदन किया था। सिंहपुर सब स्टेशन के इंचार्ज अवर अभियंता विनय कैथल से संयोजन देनें का आग्रह किया। लेकिन कथित तौर पर “मर्यादित आचरण विहीन इस अवर अभियंता” नें आनलाईन आवेदन को गलत बताया और डपट दिया।
उसका कहना था की आनलाइन आवेदन के पूर्व मुझसे मिलना चाहिये था,लेकिन मुझसे मिलें बिना आवेदन क्यों किया? इसलिये आपको बिजली संयोजन नहीं मिलेगा। आपत्ति लगाऊंगा। मेरे द्वारा यह कहने पर योगी सरकार में स्वस्थ परंपरा है तो और चिढ़ गया कहा जाओ नेता गिरी करा लो। “यहां मेरा राज और हुक्म चलता”है।
श्रीश दिवेदी नें इसकी शिकायत,आईजीआरएस के तहत किया। तत्कालीन डीएम नें जांच कराई। इस पर डीएम को गलत आख्या प्रस्तुत किया गया! इस पर पुनः शिकायत किया और गलत आख्या देनें का आरोप लगाया। लेकिन पुनः जांच में भी कूटरचित तरीके से “पुरानी आख्या की ही प्रस्तुत”कर दी गई। पीड़ित नें अब मुख्य मंत्री योगी आदित्य नाथ को पत्र लिख कर पूरे तथ्यों से अवगत कराया है। यह जानकारी दी है की उसके मकान के आस -पास के घरों में बिना किसी आपत्ति के कनेक्शन दें दिये गये है,उनमें कोई आपत्ति बिजली विभाग नें नहीं लगाई ,लेकिन मेरे द्वारा सुविधा शुल्क न देनें पर गलत आपत्तियां लगाकर कनेक्शन नहीं दिया जा रहा। पीड़ित नें सीएम योगी से न्याय की गुहार लगाई है।