बेसिक स्कूलों में देर से आने वाले और जल्दी चले जाने वाले शिक्षकों पर शिकंजा कसने वाला है। जो शिक्षक बिना बताए अनुपस्थित हो जाते हैं, वह भी सचेत हो जाएं। किसी भी स्तर पर ढिलाई नहीं बरती जाएगी। अब मुख्यमंत्री इस पर सीधी निगरानी करेंगे।
उनके समीक्षा बिंदुओं में भी यह विषय प्रमुखता से शामिल रहा करेगा। दीपावली बाद इस दिशा में सख्त निर्देश और समीक्षाओं का दौर शुरू होने वाला है। स्कूलों में अब तक की उपस्थिति के आंकड़े की भी समीक्षा की जाएगी। खास यह कि प्रकरण में स्थानीय शिक्षा विभाग के कार्यालय की भूमिका सिर्फ ऊपर से प्राप्त आदेश का अनुपालन कराने की रहेगी।
मुख्यमंत्री डैशबोर्ड ने योजनाओं और परियोजनाओं की निगरानी व मूल्यांकन के लिए चार नए विभागों को शामिल किया है। इसमें सामाजिक कल्याण और सरकारी मंत्रालयों द्वारा चलाए जा रहे दसवीं से पहले और दसवीं से बाद दी जाने वाली छात्रवृत्ति, बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों की उपस्थिति, खाद्य आपूर्ति विभाग, पिछड़ा वर्ग कल्याण से संबंधित धान खरीद के लिए शुरू की गई।