संवाद/ विनोद मिश्रा
बांदा। कमासिन “पॉवर हॉउस की मनमानी परवान” पर पहुंच गई है। “विभाग की चपरपेली से किसान तबाह” हो रहा है। इस फीडर से जुड़े संबंधित गांवों को “निर्बाध बिजली आपूर्ति मिलनी दिवा स्वपन्न” सी हो गई है।हालत यह है बिजली विभाग के कर्मचारियों ने जानबूझकर कर पन्नाह फीडर की बड़ी ग्राम पंचायतों इंगुवा,मऊ,पन्नाह की “बिजली आपूर्ति धत्ततेरे की सी कर रखी” है। यह जानकर आश्चर्य होगा की थ्री फेस बिजली जनवरी माह में औसतन केवल “तीन घंटे ही प्रतिदिन सप्लाई” की गई है। किसानों की फसलें बिजली के अभाव में अपनी प्यास नहीं बुझा पाई।

बिजली मिल नहीं रही और किसान खेतों को पानी नहीं दे पा रहा। किसान “विभागीय अंधेरगर्दी’से अति परेशान है। सिंचाई के अभाव में समय से पूर्व ही क्षेत्र की “तीस प्रतिशत फसलें” सूख गई। क्षेत्रीय किसानों नें अपना दुखड़ा “जन प्रतिनिधियों को भी सुनाया” पर समस्या का समाधान कराने में वह “निकम्मेपन से साबित” हुये हैं। इनके मनमाने तरीके की वजह से “किसानों नें डीएम जे रीभा का ध्यान” समस्या के निदान के लिये आकर्षित किया है। जिससे बर्बादी से बची रह गई फसलों की प्यास बुझ सके।