दिल्ली

दिल्ली में ‘The Meta Awakening’ समिट, भूपेन्द्र चौधरी ने दी चेतना आधारित जीवन जीने की प्रेरणा

संवाद।। सादिक जलाल

नई दिल्ली | भारत मंडपम में शनिवार को आयोजित हुए ‘The Meta Awakening’ समिट ने आध्यात्मिकता और विज्ञान के संगम से एक नई चेतना की ओर कदम बढ़ाया। इस ऐतिहासिक समिट का नेतृत्व किया प्रसिद्ध दार्शनिक-विज्ञानवेत्ता श्री भूपेन्द्र चौधरी ने, जो पहली बार राजधानी में सार्वजनिक रूप से संबोधित कर रहे थे।
कार्यक्रम का आयोजन Soul Foundation Trust (India) द्वारा किया गया था, जो अमेरिका स्थित Circle of Consciousness and Happiness का भारतीय प्रतिनिधि है।


श्

भूपेन्द्र ने अपने विचार साझा करते हुए कहा, “आध्यात्मिकता कोई धार्मिक कर्मकांड नहीं, बल्कि आनंद, प्रेम और चेतना की दैनिक जीवन में अभिव्यक्ति है।” उन्होंने अपनी नवीन शोध-आधारित प्रक्रिया ‘The Meta Awakening’ का परिचय दिया, जिसे आधुनिक जीवन की चुनौतियों को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है।
समिट के दौरान उन्होंने कहा, “आने वाले समय में मशीनें और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तेज़ी से आगे बढ़ रही हैं। ऐसे में केवल वही मानव टिक पाएगा जो चेतन, नवाचारी और भविष्यद्रष्टा होगा।”


विशेष सत्र ‘Recreate Your Life with Consciousness’ में उन्होंने युवाओं से संवाद करते हुए बताया कि जीवन की हर चुनौती हमारे भीतर की शक्ति को जगाने का एक अवसर है। उन्होंने युवाओं को प्रेरित किया कि वे सोच के पारंपरिक ढाँचों से ऊपर उठकर “integrated thinking” यानी समग्र सोच की ओर बढ़ें।


समिट में भारी संख्या में युवाओं, विचारकों और समाजसेवियों की उपस्थिति ने इसे एक चेतना आंदोलन का रूप दे दिया। श्री भूपेन्द्र चौधरी की यह पहल एक नई सोच और सशक्त मानवता की दिशा में मील का पत्थर मानी जा रही है।