84 दिन परिजनों से रही दूर
3.70 लाख में सिकन्दरा के होटल मे किया सौदा
आगरा। दर्द, तड़प और आंसुओं के बीच 84 दिन बाद मानव तस्करी की शिकार किशोरी को पिता के सुपुर्द कर दिया गया। कोटा में उसके साथ हुई दरिंदगी को याद करके बार बार किशोरी यही कह रही थी कि पापा उन्हें छोड़ना मत। सर के साथ मिलकर उन्हें सजा दिलवाना। जिससे फिर कभी किसी बच्ची के साथ ऐसा न सकें। उन्होंने मेरी जिंदगी को नरक बना दिया। पिता बेटी के आंसू पोछकर उसे हिम्मत देता रहा।
सिकन्दरा के होटल में हुआ सौदा
29 जनवरी को जगदीशपुरा की रहने वाली किशोरी को एक महिला प्रलोभन देकर ले गई। आधार कार्ड में नाम बदलकर उसे बालिग दर्शाकर सिकन्दरा के एक होटल में ले गई। जहां चार लोगों को 3.70 लाख रूपये में बेच दिया। वह उसे कोटा ले गए। एक युवक ने मंदिर में उसके साथ शादी रचा ली। घरेलू काम करने के साथ साथ उसका शारीरिक शोषण किया गया। मौका पाकर किसी तरह भाग निकली और कैथुन थान जा पहुंची। पुलिस ने आरोपी को पकड़ लिया। बाद में उसे छोड़ दिया। किशोरी को बालिका गृह में निरूद्ध करा दिया गया। बाल कल्याण समिति ने पुलिस और जिला विधिक सेवा प्राधिकर को पत्र लिखे लेकिन मुकद्मा न हो सका।
प्रिजनों ने काटे कोटा के चक्कर
14 फरवरी को कोटा बाल कल्याण समिति की सूचना पर परिजन पुलिस के साथ कोटा पहुंचे लेकिन किशोरी को सुपुर्द नहीं किया गया। कई बार कोटा गए। चाइल्ड राइट्स एक्टिविस्ट नरेश पारस से मदद मांगी। उनके साथ भी कोटा गए। उन्होंने बाल कल्याण समिति, पुलिस और न्यायालय में पत्र देकर किशोरी को परिजनों के सुपुर्द करने को कहा। बाल कल्याण समिति ने जगदीशपुरा पुलिस को बुलाकर किशोरी सुपुर्द कर दी।
बाल कल्याण समिति के समक्ष किया पेश
पुलिस ने किशोरी का मेडिकल कराकर न्यायालय में उसके बयान दर्ज कराए। उपनिरीक्षक देवी शरण सिंह ने किशोरी को बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश किया। समिति ने उसकी काउंसलिंग की। सदस्य निमेष बेताल सिंह, हेमा कुलश्रेष्ठ और अर्चना उपाध्याय ने किशोरी को परिजनों के सुपुर्द कर दिया। इस दौरान नरेश पारस भी मौजूद रहे।
मानव तस्करी निरोधक थाने में हो विवेचना
नरेश पारस ने कहा कि मामला मानव तस्करी से जुड़ा हुआ है। यह अंतर्राज्यीय गिरोह है। जो भोली भाली लड़कियो को बहला फुसलाकर ले जाता है। मोटी रकम लेकर उनको देह व्यापार मंडी के दलालों को बेच देते हैं। इसकी विवेचना मानव तस्करी निरोधक थाना द्वारा कराई जानी चाहिए। जिससे मानव तस्करों पर कार्यवाही हो सके। एएचटीयू प्रभारी हेमलता ने किशोरी के माता पिता के बयान दर्ज कर लिए हैं। मुकद्में में मानव तस्करी, पॉक्सो आदि की धाराएं बढ़ाई जाएंगी।